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एलन मस्क की स्पेसएक्स ने मेगा स्टारशिप रॉकेट का 13 अक्टूबर रविवार को सफलतापूर्वक परीक्षण किया। यह 400 फीट ऊंचा और 33 मीथेन फ्यूल इंजनों वाला अब तक का सबसे शक्तिशाली रॉकेट है। नासा ने स्पेसएक्स को चांद पर अंतरिक्ष यात्रियों को उतारने के लिए दो स्टारशिप का ऑर्डर भी दिया है। इसकी गति 27000 किमी/घंटा है।

दुनिया के सबसे रईस इंसान और स्पेसएक्स के मालिक एलन मस्क ने एक नई इबारत लिखी है। मस्क की स्पेसएक्स ने 13 अक्टूबर रविवार को मेगा स्टारशिप रॉकेट लॉन्च किया। स्टारशिप रॉकेट मैक्सिकन सीमा के पास टेक्सास के दक्षिणी सिरे से सूर्योदय के समय उड़ा। स्टारशिप की ऊंचाई लगभग 400 फीट यानी 121 मीटर है। यह अब तक का सबसे ऊंचा और शक्तिशाली रॉकेट है।

स्पेसएक्स का सफल परीक्षण

SpaceX के द्वारा किया गया यह परीक्षण सबसे साहसिक रहा और सबसे सफल परीक्षण भी। इससे पहले जून 2024 में स्पेसक्स के द्वारा किया गया परीक्षण सबसे सफल रहा था। जिसने बिना विस्फोट के अपनी उड़ान पूरी की थी। बता दें स्टारशिप रॉकेट का यह पांचवा परीक्षण है।

सबसे शक्तिशाली

एलन मस्क स्टारशिप के लिए बड़ा इरादा रखते हैं, यह अकेले बूस्टर पर 33 मीथेन फ्यूल इंजनों के साथ बनाया गया अब तक का सबसे बड़ा और सबसे शक्तिशाली रॉकेट है।

नासा से मिला दो स्टारशिप का ऑर्डर

नासा ने इस दशक के अंत में अंतरिक्ष यात्रियों को चांद पर उतारने के लिए दो स्टारशिप का ऑर्डर दिया है। स्पेसएक्स का इरादा स्टारशिप का इस्तेमाल करके लोगों और आपूर्ति को चांद और मंगल पर भेजने का है।

बता दें, स्टारशिप के लिए पहले कई परीक्षण हो चुके हैं। 14 मार्च 2024 को हुए परीक्षण में रीएंट्री के बाद स्टारशिप से संपर्क टूट गया था। उस समय स्पेसएक्स ने बताया था कि कुछ तकनीकी खामियों के चलते ऐसा हुआ। स्पेसएक्स के मुताबिक, उस समय स्टारशिप रीएंट्री के दौरान सर्वाइव नहीं कर पाया था। बात दूसरे परीक्षण की करें तो इसमें स्टेज सेपरेशन में दिक्कतों के चलते परीक्षण सफल नहीं हो पाया।

स्टारशिप जुड़े जरूरी बातें

एलन मस्क दुनिया के सबसे शक्तिशाली रॉकेट को यूं ही नहीं सबसे आधुनिक बता रहे हैं। इसके पीछे कुछ वजहें भी हैं। पहला री-यूजेबिलिटी यानी स्टारशिप एक बार उड़ान भरने में अगर फेल होता है तो दूसरी बार भी इसे उड़ाया जा सकता है।

यह अब तक के इतिहास का सबसे ऊंचा रॉकेट है। स्टारशिप लगभग 150 टन पेलोड ले जा सकती है। इतना ही नहीं इसमें 33 रैप्टर इंजन लगे हुए हैं, जो इसे बहुत शक्तिशाली बनाते हैं। इस रॉकेट की गति लगभग 27,000 किमी/घंटा है।

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