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ईंट-भट्ठे पर हुआ प्यार और मंदिर में रचाई शादी, लड़की-लड़के ने सात फेरों से पहले निपटाया सबसे जरूरी काम

Bihar News बिहार के नवादा जिले में एक प्रेमी जोड़े की शादी चर्चा का विषय बन गई है। लड़का-लड़की ईंट-भट्ठे पर काम करने के दौरान एक-दूसरे को दिल दे बैठे थे। लड़का शेखपुरा जिले का रहने वाला है। वहीं लड़की वारिसलीगंज प्रखंड की निवासी है। दोनों ने मंदिर में महादेव को साक्षी मानकर रीति-रिवाज से सात फेरे लिए। इस शादी से दोनों के घरवाले भी खुश हैं।

 वारिसलीगंज।बिहार में एक बार फिर एक प्रेमी युगल की शादी चर्चा का विषय बनी हुई है। मंदिर में सात फेरे लेने से पहले लड़की और लड़के ने एक सबसे जरूरी काम निपटाया। यही वजह है कि इलाके में इस शादी की चर्चा होने लगी है।

दरअसल, नवादा जिले में सावन पूर्णिमा के पावन अवसर पर टतेश्वर नाथ महादेव मंदिर ठेरा में श्रद्धालुओं की भीड़ के साथ एक प्रेमी जोड़े ने मंदिर परिसर में पहुंचकर शादी रचाई।

इससे पहले प्रेमी जोड़े ने एक जरूरी काम किया। उन्होंने ठेरा ग्राम कचहरी पहुंचकर वहां सबसे पहले तो अपनी शादी का रजिस्ट्रेशन करवाया। इसके बाद ही मंदिर में जाकर सात फेरे लिए।

कौन है प्रेमी युगल

इस संबंध में वारिसलीगंज सरपंच संघ के अध्यक्ष सह ठेरा कचहरी के सरपंच सुबोध सिंह ने जानकारी दी। उन्होंने बताया कि लड़की शेखपुरा जिले के एकसारी गांव के राधे मांझी की पुत्री नीतू कुमारी है।

नीतू ने अपने प्रेमी नालंदा जिले के पनेता गांव निवासी राम प्रवेश मांझी का पुत्र सुमरन मांझी के साथ पहले ठेरा ग्राम कचहरी में शादी का रजिस्ट्रेशन करवाया है।

उन्होंने कहा कि इसके बाद दोनों ने बाबा टतेश्वर नाथ मंदिर पहुंचकर विधि-विधानपूर्वक शादी रचाई है। मौके पर लोगों ने नवयुगल को आशीर्वाद भी दिया।

बता दें कि ठेरा गांव स्थित बाबा टतेश्वर नाथ मंदिर परिसर में लग्न के अलावा सालभर शादियां होती रहती हैं। लोग महादेव के समक्ष शादी करना शुभ मानते हैं।

हरियाणा के ईंट भट्ठा पर काम करने के दौरान एक-दूसरे से हुआ प्यार

जानकारी के अनुसार, वारिसलीगंज प्रखंड के ठेरा पंचायत के अनुसूचित टोला नथुबिगहा में लड़की अपनी बहन के घर आई थी। यहीं से उसके परिवार वालों ने लड़के के घर से वर पक्ष को बुलवाया। इसके बाद महादेव मंदिर में विवाह संपन्न हुआ।

सरपंच सुबोध सिंह ने बताया कि लड़का और लड़की दोनों बालिग हैं। इनके बीच प्रेम करीब एक साल पहले हरियाणा स्थित एक ईंट-भट्टा पर काम करने के दौरान हुआ था। इसके बाद दोनों परिवार में आपसी रजामंदी से इनका विवाह हो गया।