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चांदी का भाव 1 लाख रुपये प्रति किलो के करीब पहुंच गया है। पिछले कुछ समय के दौरान चांदी के भाव में भारी उछाल आया है। मंगलवार को ही चांदी की कीमत में 5000 रुपये की तेजी आई है। आइए जानते हैं कि चांदी की कीमतों के उछाल की क्या वजह है और क्या तेजी आगे भी बनी रहेगी।

पिछले कुछ समय से चांदी के भाव में जोरदार तेजी देखी जा रही है। यह लखटकिया बनने के बेहद करीब है। मंगलवार को चांदी की कीमतों में 5000 रुपये का भारी उछाल आया और 99,500 रुपये प्रति किलो के स्तर पर पहुंच गई। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने केंद्रीय बजट 2024 में सोने और चांदी की कीमतों पर कस्टम ड्यूटी घटाई थी। इससे सोने और चांदी के भाव में कुछ कमजोरी दिखी थी। लेकिन, अब दोनों कीमती धातुओं की कीमत आसमान छू रही है।

चांदी के भाव में तेजी क्यों?

कमोडिटी मार्केट के जानकारों का कहना है कि औद्योगिक मांग में तेजी के चलते चांदी की कीमतों में भारी उछाल आया है। साथ ही, इसे सोने के भाव में तेज उछाल का भी फायदा मिल रहा है। नई पीढ़ी में चांदी के गहने पहनने का चलन भी बढ़ रहा है। चांदी की तेजी का रुख मजबूत दिखाई दे रहा है। उन्होंने कहा कि निवेशक गिरावट को खरीदारी के मौके के तौर पर लेते रहेंगे। इससे आने वाले सत्रों में चांदी को अच्छा समर्थन मिलेगा।

सोने की कीमतों में उछाल की वजह से खुदरा खरीदार तेजी से चांदी का रुख कर रहे हैं। उनका मानना है कि चांदी मौजूदा स्तर पर सोने का अच्छा विकल्प है। खासकर, जब सोना 78,000 रुपये प्रति 10 ग्राम को छू रहा है। चांदी को किफायती कीमती धातु होने का फायदा मिल रहा है। साथ ही, इलेक्ट्रिक व्हीकल (ईवी) सेक्टर और फोटोवोल्टिक एप्लिकेशंस की बढ़ती मांग के चलते भी इसमें तेजी दिख रही है। इससे मध्यम से लंबी अवधि में चांदी की मजबूत वैश्विक मांग बने रहने की उम्मीद है।

जतीन त्रिवेदी, LKP Securities में करेंसी और कमोडिटीज के वीपी रिसर्च एनालिस्ट

चांदी का इस्तेमाल कहां होता है?

सोने और चांदी का जिक्र भले ही एक साथ आता है, लेकिन दोनों का इस्तेमाल काफी अलग है। गोल्ड की पहचान जेवरात, निवेश और मुद्रास्फीति के खिलाफ कारगर हथियार तौर पर है। वहीं, चांदी का ज्यादातर औद्योगिक क्षेत्र में इस्तेमाल होता है।

सोने के मुकाबले चांदी कम दुर्लभ है। इसका कंज्यूमर इलेक्ट्रॉनिक्स इंडस्ट्री में काफी यूज होता है। यह इलेक्ट्रिक स्विच, सोलर पैनल और RFID चिप्स का प्रमुख हिस्सा है। चांदी का तकरीबन सभी कंप्यूटर, मोबाइल फोन, ऑटोमोबाइल और इक्विपमेंट में इस्तेमाल होता है

चांदी की डिमांड बढ़ने की वजह

चांदी की इंडस्ट्रियल डिमांड के साथ गहनों के लिए भी मांग बढ़ रही है। युवा पीढ़ी चांदी से बने गहने काफी पसंद कर रही है। खासकर हाथ, गले और पैरों में पहने जाने वाली ज्वैलरी। साथ ही, सरकार रिन्यूएबल एनर्जी पर काफी फोकस कर रही है। इससे भी चांदी की डिमांड बढ़ी है, क्योंकि यह सोलर पैनल का एक अहम हिस्सा है।

एक्सपर्ट के मुताबिक, अब चांदी के दाम में लगातार तेजी आएगी। चांदी का फोटोवोल्टिक्स (पीवी) के रूप में दुनियाभर में इस्तेमाल बढ़ रहा है। यह तकनीक धूप को सीधे बिजली में कन्वर्ट करती है। यह सबसे बड़ा संकेत है कि चांदी की तेज डिमांड बनी रहेगी और उसकी कीमतों में उछाल आएगा।

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